खेतोँ में पराली को जलाने के बजाय के बजाय किसान छोटी सी जगह पर हरेक मौसम में पैरापुटु की उत्पादन का काम करके अच्छा आमदनी लें सकते हैं - Chhattisgarhkimunaadi.com

Breaking

Home Top Ad

मध्यप्रदेश़/छत्तीसगढ के सभी जिलों में संवाददाता की आवश्यकता है इच्छुक व्यक्ति ही संपर्क करें 9644565147,8889471190 छत्तीसगढ़/मध्यप्रदेश के सभी जिलों में संवाददाता की आवश्यकता है इच्छुक व्यक्ति ही संपर्क करें 9644565147,8889471190
हिंन्दी न्यूज |अंग्रेजी न्यूज|नौकरी|CGjobse.in|रायपुर|कोरोना|जशपुर|देेश-विदेश|राजनीतिक|हिंन्दी न्यूज |अंग्रेजी न्यूज|नौकरी|CGjobse.in|रायपुर|कोरोना|जशपुर|देेश-विदेश|राजनीतिक

रविवार, 8 मई 2022

खेतोँ में पराली को जलाने के बजाय के बजाय किसान छोटी सी जगह पर हरेक मौसम में पैरापुटु की उत्पादन का काम करके अच्छा आमदनी लें सकते हैं

रिपोर्टर--सुरेश कुमार यादव

जांजगीर चाम्पा---खेतोँ में पराली को जलाने के बजाय के बजाय किसान छोटी सी जगह पर हरेक मौसम में पैरापुटु की उत्पादन का काम करके अच्छा आमदनी लें सकते हैं। पैरापुटु उत्पादन के बाद बेकार पैरा अपने आप बहुत ही अच्छा गुणवत्ता युक्त जैविक खाद तैयार हो जाता है। जो आज के समय में खेती में अति आवश्यक हो गया है। उक्त बातें नावागढ़ ब्लॉक अंतर्गत ग्राम तेंदुआ में सहकार भारती के तत्वाधान में आयोजित एक दिवसीय मशरूम उत्पादन प्रशिक्षण कार्यक्रम में किसानों को सम्बोधित करते हुए सहकार भारती प्रशिक्षण प्रकोष्ठ के प्रान्त प्रमुख दीनदयाल यादव ने कहा। इस मौके पर उन्होंने किसानों तथा स्व सहायता समूह के महिलाओ को आयस्टर मशरूप और पैड़ी मशरूम उगाने का प्रशिक्षण दिया. कार्यक्रम का शुभारम्भ सहकार भारती के संस्थापक लक्षमन राव इनामदार के छाया चित्र पर अगरबत्ती, फूलमाला पहनाकर किया गया। जिलाध्यक्ष रामकुमार श्रीवास ने कहा कि सहकार भारती आम लोगों को गाँव गाँव में निःशुल्क प्रशिक्षण देकर उन्हें स्व रोजगार से जोड़ने का काम कर रहीं है। हाल ही में खरोद में महिलाओ को एक माह का सिलाई की प्रशिक्षण दिया गया है। प्रान्त के एफपीओ प्रमुख रामाधार देवांगन ने कहा कि किसानों और महिलाओ की आर्थिक स्थिति को मजबूत करने की दिशा में सहकार भारती काम कर रहीं है। जिला महामंत्री व पूर्व जिला पंचायत सदस्य नरेंद्र कौशिक ने प्रशिक्षण के महत्व पर प्रकाश डालते हुए कहा कि जिले के सभी ब्लाको में बेरोजगार युवक, युवतियाँ, किसानों, महिला स्व सहायता समूह के महिलाओ को गाँव गाँव और शहरों में सिलाई कढ़ाई, मोमबत्ती, अगरबत्ती, फिनाइल, साबुन, डिटेर्जेन्ट पावडर, मधुमक्खी पालन, बकरी पालन, मुर्गी पालन, मछली पालन, कोसा कीट पालन, लाख उत्पादन, मशरूम उत्पादन, सब्जी खेती, नर्सेरी प्रबंधन, अचार, पापड़, मसाला निर्माण, डेयरी, वर्मी कम्पोस्ट, जैविक कृषि, समूह कि महिलाओ को दस्तावेजीकरण आदि प्रशिक्षण निःशुल्क प्रदान किया जायेगा। नावागढ़ ब्लॉक अध्यक्ष टिककम कश्यप ने कहा कि ग्रामीण और शहरी क्षेत्र के लोगों को प्रशिक्षण देने हेतु गाँव गाँव में पंजीयन हेतु कार्यकर्त्ता नियुक्त किया गया है। प्रशिक्षण कार्यक्रम को धर्म रक्षा वाहिनी के संयोजक विद्या महंत ने भी प्रशिक्षण की आवश्यकताओ के बारे में विस्तार पूर्वक जानकारी दी। इस अवसर पर उत्तरा, मिना, गीता, नंदनी, ममता, शिवकुमारी, सुकन्या, नीरा, धनबाई, अनिता, बुधवारा, द्वाशां, चंद्रशेखर, पुरषोत्तम, उमाशंकर, ओमप्रकाश, नीरा, उर्वशी तथा आसपास गाँव के किसान बड़ी संख्या में उपस्थित थे।

"
"