गरीब करे सरकारी जमीन में कब्जा तो मकान तोड़ दिया जाता है और अमीर करे बेजा कब्जा तो उसे छोड़ दिया जाता है ।
ऐसा ही एक मामला उजागर हो रहा है जशपुर जिले के विकासखंड बगीचा अन्तर्गत ग्राम पंचायत पण्ड्रापाठ में ।
प्राप्त जानकारी के अनुसार पण्ड्रापाठ बस स्टैंड के सामने शासकीय भुमी खसरा नंबर १९३३ पर दिनदयाल साहु पिता मंगरू साहु निवासी पण्ड्रापाठ के द्वारा अतिक्रमण कर भवन का निर्माण कराया जा रहा है जबकि उक्त भुमी पर ग्राम पंचायत पण्ड्रापाठ के द्वारा व्यापारिक कॉम्प्लेक्स भवन का निर्माण कराया जाना तय है ।
दिनांक ०९/०१/२०२२ को ग्राम पंचायत पण्ड्रापाठ के द्वारा कराए जा रहे निर्माण कार्य को दिनदयाल साहु के दोनो पुत्र जितेंद्र साहु तथा महेंद्र साहु के द्वारा रोक लगाते हुए पंचायत में उपस्थित पंच एंव ग्रामीणों को अनाब सनाब अपशब्दों का प्रयोग करते हुए धमकी तक दिया गया ।
जबकि तहसीलदार सन्ना के द्वारा पुर्व में ही दिनदयाल साहु के द्वारा किए जा रहे अतिक्रमण पर स्थगन आदेश जारी किया जा चुका है ।
ईस संबध में जब हमारे द्वारा सन्ना तहसीलदार श्री सुनील गुप्ता से जानकारी ली गई तो उन्होंने बताया कि उक्त कार्य पर उनके द्वारा पुर्व में ही स्थगन आदेश जारी किया जा चुका है जिसकी छायाप्रति उनके द्वारा थाना पण्ड्रापाठ भिजवाया गया है यदि ईसके पश्चात भी निर्माण कार्य चल रहा है तो वे तत्काल ईस संबंध में थानेदार पण्ड्रापाठ को सुचित कर निर्माण कार्य रुकवाएंगे पश्चात तात्कालिक उचित कार्यवाही करेंगे ।
वहीं ईस संबंध में ग्राम पंचायत पण्ड्रापाठ के सरपंच का कहना है कि मेरे द्वारा लिंक कोर्ट सरधापाठ मे तहसीलदार के समक्ष उक्त निर्माण कार्य में रोक लगाने की मांग की गई तब तहसीलदार महोदय के द्वारा बताया गया कि स्थगन आदेश जारी किया जा चुका है आप संबंधित थाने में जाकर जानकारी दिजीए और निर्माण कार्य को रुकवाईए जब मेरे द्वारा निर्माण कार्य को रोकने के लिए बोला गया तो जितेन्द्र गुप्ता एवं महेन्द्र गुप्ता के द्वारा मुझसे गाली गलौज करते हुए मारने पिटने की धमकी देने लगे तब मेरे द्वारा लिखित शिकायत थाना पण्ड्रापाठ में दिया गया जिस पर अभी तक किसी भी प्रकार की कोई कार्यवाही नहीं की गई है ना ही निर्माण कार्य को रोका गया है ।
वहीं ग्राम पंचायत पण्ड्रापाठ के सचिव का कहना है कि शासकीय भुमी तथा विद्यालय की भुमी को निरंतर दबंगई करते हुए जितेंद्र गुप्ता तथा महेंद्र गुप्ता के द्वारा स्थगन आदेश जारी होने के बाद भी निर्माण कार्य कराया जा रहा है पंचायत के द्वारा मना करने पर पंचायत कर्मियों को दोनो भाईयों के द्वारा गाली गलौज किया जाता है तथ बोला जाता है पंचायत जो करना है कर ले हम यहां भवन निर्माण करके रहेंगे ।
ईस संबंध में जब चौकी प्रभारी पण्ड्रापाठ से जानकारी ली गई तो उन्होंने बताया कि पण्ड्रापाठ सरपंच के द्वारा लिखित आवेदन प्राप्त हुआ है जिसे संज्ञान मे ले लिया गया है तथा हमारे द्वारा ईस मामले की जांच कर दोषियों पर कार्यवाही की जाएगी ।
आखिर क्या है ईस दबंगई का राज, क्यों लोग प्रशासनिक आदेश की कर रहे हैं अवहेलना, किसके सह पर किया जा रहा है सरकारी भुमी पर कब्जा, क्यों नहीं हटाया जा रहा है अतिक्रमण और बेजा कब्जा ।
कई सवाल हैं जिनके जवाब भविष्य के गर्भ में दबे हुए हैं अब देखना है कब तक शासन प्रशासन ईस प्रकार के अतिक्रमणकारियों पर कार्यवाही करती है और क्या कार्यवाही करती है